कल-कल,छल-छल बहती। नर्मदा, दुनिया करें जयकार मोरे लाल। कल-कल,छल-छल बहती। नर्मदा, दुनिया करें जयकार मोरे लाल।
प्रातः काल भास्कर रश्मि कर गई रोशन जहां चिड़ियों की चहचहाहट,मधुर कर गई जहां, प्रातः काल भास्कर रश्मि कर गई रोशन जहां चिड़ियों की चहचहाहट,मधुर कर गई जहां,
जीवन यहां सुधा संग गरल लिए एक भविष्य उज्जवल लिए एक बेहतर कल लिए। जीवन यहां सुधा संग गरल लिए एक भविष्य उज्जवल लिए एक बेहतर कल लिए।
राजा शान से खड़ा है प्यादा ही बे मौत मरा है छल से भरे इस खेल मे हर पल ख़तरा ही ख़तरा है राजा शान से खड़ा है प्यादा ही बे मौत मरा है छल से भरे इस खेल मे हर पल ख...
मैं चला था लोगों को ठगने पर यहां लगा है भावों का बाजार अब पुनः वापस आकर बैठ गया अब खुद क... मैं चला था लोगों को ठगने पर यहां लगा है भावों का बाजार अब पुनः वापस आकर ...
तुमसे प्यार किया इसलिए मैं खुद से नफरत करता हूँ। तुमसे प्यार किया इसलिए मैं खुद से नफरत करता हूँ।